राजव्यवस्था

historical background of indian constitution

भारतीय संविधान की प्रस्तावना| Important Facts

भारतीय संविधान की प्रस्तावना पंडित नेहरू द्वारा पेश किये गए ‘उद्देश्य प्रस्ताव’ पर आधारित है।

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Supreme Court

सुप्रीम कोर्ट के शीर्ष 10 महत्वपूर्ण फैसले

सुप्रीम कोर्ट के शीर्ष 10 महत्वपूर्ण फैसले सुप्रीम कोर्ट संविधान का अंतिम व्याख्याकार है और हमारे संवैधानिक अधिकारों और मौलिक स्वतंत्रता का रक्षक है। सर्वोच्च न्यायालय द्वारा दिए गए महत्वपूर्ण फैसलों की न केवल मिसाल के रूप में सराहना की जानी चाहिए, बल्कि सर्वोच्च महत्व के मुद्दों पर कानून निर्धारित करने के रूप में भी

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samvidhan ki prastavana

भारतीय राजव्यवस्था के 50 महत्वपूर्ण प्रश्न| Important Indian Polity MCQs in Hindi

भारतीय राजव्यवस्था के 50 महत्वपूर्ण प्रश्न इस आर्टिकल में दिए गए हैं.

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Directive Principle of Stat

राज्य के नीति निर्देशक सिद्धांत| अनुच्छेद 36 से 51| Important

नीति निर्देशक सिद्धांतों का परिचय राज्य के नीति निर्देशक सिद्धांतों (DPSP) को संविधान के भाग IV में अनुच्छेद 36 से 51 तक सूचीबद्ध किया गया है। यह विचार 1937 के आयरिश संविधान से लिया गया है, जिसने इसे स्पेनिश संविधान से कॉपी किया था। डॉ. बी.आर. अम्बेडकर ने इन सिद्धांतों को भारतीय संविधान की ‘महान

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goi

मौलिक अधिकार| अनुच्छेद 12 से 35 | Important Points

मौलिक अधिकार संविधान के भाग III में अनुच्छेद 12 से 35 तक निहित हैं। मौलिक अधिकार भारत के संविधान में निहित बुनियादी मानवाधिकार हैं जो सभी नागरिकों को गारंटीकृत हैं। उन्हें जाति, धर्म, लिंग आदि के आधार पर भेदभाव के बिना लागू किया जाता है। गौरतलब है कि मौलिक अधिकार कुछ शर्तों के अधीन अदालतों द्वारा लागू किए जा सकते हैं।

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पंचायती राज व्यवस्था

भारत में पंचायती राज व्यवस्था| Important Points

भारत में पंचायती राज व्यवस्था भारत में पंचायती राज प्रणाली शब्द ग्रामीण स्थानीय स्वशासन की व्यवस्था को दर्शाता है। यह भारत के सभी राज्यों में जमीनी स्तर पर लोकतंत्र के निर्माण के लिए राज्य विधानसभाओं द्वारा स्थापित किया गया है। 1989 में, केंद्र सरकार ने दो संवैधानिक संशोधन पेश किए। इन संशोधनों का उद्देश्य स्थानीय

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assembly india

संविधान सभा (1946)| Important Points

संविधान सभा चुने गए जनप्रतिनिधियों की जो सभा संविधान नामक विशाल दस्तावेज को लिखने का काम करती है उसे संविधान सभा कहते हैं। भारतीय संविधान सभा के लिए जुलाई 1946 में चुनाव हुए थे। संविधान सभा की पहली बैठक दिसंबर 1946 में हुई थी। संविधान सभा की मांग 1934 में भारत के लिए एक संविधान

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कार्यपालिका, न्यायपालिका और विधायिका| Important Points

कार्यपालिका, न्यायपालिका और विधायिका भारत का संविधान भारत को एक सार्वभौमिक, समाजवादी गणराज्य की उपाधि देता है। भारत एक लोकतांत्रिक गणराज्य है, जिसका द्विसदनात्मक संसद वेस्टमिन्स्टर शैली के संसदीय प्रणाली द्वारा संचालित है। हमारे संविधान में राज्य की शक्तियों को तीन अंगों में बाँटा गया है- कार्यपालिका, विधायिका तथा न्यायपालिका। इसके अनुसार विधायिका का काम विधि निर्माण करना, कार्यपालिका का काम विधियों का कार्यान्वयन तथा

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